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केसर इतना महंगा क्यों है असल कारण जानिये | Why Is Saffron So Expensive? |

Why Is Saffron So Expensive? | इस पोस्ट में जानेंगे आखिर केसर इतना महंगा क्यों है इसका अंग्रेजी नाम Saffron होता है जिसका इस्तेमाल अक्सर खाने पीने की चीजों में किया जाता है इसे दुनिया का सबसे महंगा खाद्य पदार्थ कहा जाए तो गलत नहीं होगा क्योंकि इसका पौधा भी काफी कीमती होता है।

केसर इतना महंगा क्यों है असल कारण जानिये | Why Is Saffron So Expensive? |
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केसर इतना महंगा क्यों है असल कारण जानिये | Why Is Saffron So Expensive? |

Why Is Saffron So Expensive? | इस पोस्ट में जानेंगे आखिर केसर इतना महंगा क्यों है इसका अंग्रेजी नाम Saffron होता है जिसका इस्तेमाल अक्सर खाने पीने की चीजों में किया जाता है इसे दुनिया का सबसे महंगा खाद्य पदार्थ कहा जाए तो गलत नहीं होगा क्योंकि इसका पौधा भी काफी कीमती होता है। जो साल में महज एक या दो महीने के लिए उगता है विश्व की बहुत कम जगहों में केसर की खेती की जाती है और जहाँ तक भारत की बात करें तो यहाँ जम्मू के किश्तवाड़ और कश्मीर के पंपोर के सीमित इलाके सैफरन की खेती के लिए उपयोगी माने जाते हैं और यहाँ केसर की काफी पैदावार भी होती है।

अगर आप सोच रहे हैं कि आप केसर की खेती कहीं भी कर सकते हैं तो ऐसा बिलकुल नहीं है क्योंकि इसकी पैदावार के लिए इसके अनुसार वातावरण होना आवश्यक है। जैसे भारत में जम्मू और कश्मीर के कुछ इलाके Saffron की खेती के लिए बेहतर माने जाते हैं। जो भी किसान इसकी खेती करता है उसे इससे काफी फायदा होता है क्योंकि आज के समय एक किलो केसर की कीमत तीन से साढ़े तीन लाख रूपये होती है।


केसर इतना महंगा क्यों है

दरअसल केसर की खेती के लिए बहुत कम मशीनरी का इस्तेमाल किया जाता है सैफरन के फूल से धागे निकालने के लिए मशीन की जगह हाथों का उपयोग करना पड़ता है। एक फूल में Saffron के तीन नाजुक धागे होते हैं ऐसे करीब 75 हजार फूलों से लगभग 400 ग्राम केसर निकलता है यहीं कारण है कि केसर इतना महंगा होता है। इसके अलावा जो फूल होते हैं वह बहुत कम समय के लिए खिलते हैं और इन्हें उसी दिन तोड़ना पड़ता है जिस दिन यह खिलते हैं।

सैफरन के फूल को क्रोकस के नाम से भी जाना जाता है जब यह फूल खिलता है तो इसमें से केसर के तीन नाजुक धागे निकलते हैं फूल से केसर को निकालने के बाद फूल को सुखा दिया जाता है। भारत में Saffron की खेती कश्मीर में की जाती है इसके लिए सितम्बर से दिसम्बर के बीच का समय सबसे ज्यादा उपयोगी होता है कश्मीर अपने उच्च गुणवत्ता वाले केसर के लिए दुनियाभर में जाना जाता है।

केसर के फायदे

भारत में अक्सर स्वादिष्ट पकवानों के लिए केसर को मिलाया जाता है काफी लोग Saffron को दूध में मिलाकर पीते हैं चूँकि केसर का स्वाभाव गर्म होता है ऐसे में इसका उपयोग ठंडाई में भी होता है। आपको बता दे कि सैफरन काफी औषधीय गुणों से युक्त होता है यह कफ नाशक, मस्तिष्क को बल देने वाला, मन को प्रसन्न करने वाला, हृदय और रक्त के लिए हितकारी, तथा खाद्य पदार्थ और पेय को रंगीन और सुगन्धित करने वाला होता है।

हिन्दू धर्म में केसर का काफी महत्त्व है क्योंकि पूजा पाठ में केसर का काफी उपयोग किया जाता है इसका तिलक लगाना शुभ माना जाता है। आयुर्वेदिक शास्त्र के अनुसार हर रोज Saffron की थोड़ी मात्रा का सेवन करने से बहुत से रोगों से छुटकारा मिलता है।

तो अब आप जान गए होंगे कि केसर इतना महंगा क्यों है व्यावसायिक तौर पर देखा जाए तो सैफरन को मुख्यतः भारत, ईरान और स्पेन में उगाया जाता है हालाकि भारत के कश्मीर में उगाई गयी केसर सबसे महंगी होती है क्योंकि यह उच्च गुणवत्ता की और अधिक गुणकारी होती है। इसके इतिहास को देखें तो ऐसा माना जाता है कि सबसे पहले Saffron की खेती यूनान में की गयी थी इसके बाद यह दूसरी जगहों में भी उगायी जाने लगी कश्मीर में सैकड़ों सालों से केसर की खेती की जा रही है।

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