Sonia Gandhi Biography In Hindi | सोनिया गांधी का जीवन परिचय

Sonia Gandhi Biography In Hindi | सोनिया गांधी एक भारतीय नेता और भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की प्रमुख रही हैं। जो दुनिया की सबसे शक्तिशाली लोगों मे शामिल है। सोनिया राजीव गांधी की पत्नी हैं जिनकी हत्या 1991 में एक बम धमाके में कर दी गयी थी। वे भारतीय राजनीतिक के संपन्न नेहरू परिवार की बहू हैं।

Update: 2020-11-27 18:33 GMT

Sonia Gandhi Biography In Hindi | सोनिया गांधी का जीवन परिचय

  • नाम सोनिया गांधी
  • जन्म 9 दिसम्बर 1946
  • जन्मस्थान लुसियाना, इटली
  • पिता स्टेफ़िनो मायनो
  • माता पाओलो मायनों
  • पति राजीव गांधी
  • पुत्र राहुल गांधी
  • पुत्री प्रियंका गांधी
  • व्यवसाय राजनीतिज्ञ
  • नागरिकता भारतीय

भारतीय राजनीतिज्ञ सोनिया गांधी (Sonia Gandhi Biography in Hindi)

Sonia Gandhi Biography In Hindi | सोनिया गांधी एक भारतीय नेता और भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की प्रमुख रही हैं। जो दुनिया की सबसे शक्तिशाली लोगों मे शामिल है। सोनिया राजीव गांधी की पत्नी हैं जिनकी हत्या 1991 में एक बम धमाके में कर दी गयी थी। वे भारतीय राजनीतिक के संपन्न नेहरू परिवार की बहू हैं। उनकी सास इंदिरा गांधी भारत के 4 बार प्रधानमंत्री रह चुकी हैं। और उनके दादा ससुर पंडित जवाहरलाल नेहरू भारत के प्रथम प्रधानमंत्री थे।

सोनिया का प्रारंभिक जीवन (Sonia Gandhi Early Life)

सोनिया का जन्म 9 दिसम्बर, 1946 को इटली के क्षेत्र में विसेन्ज़ा के गाँव लुसियाना में हुआ था। उनका बचपन ओर्बस्सनो के पास बिता जो टुरिन के पास स्थित है। उनके पिता स्टेफानो मानिओ का छोटा सा कंस्ट्रक्शन का व्यवसाय ओब्रस्सनो में था। सोनिया के पिता की मृत्यु 1983 में हुई थी। सोनिया की माता पाओलो मायनों और उनकी दो बहने भी हैं जो ओब्रस्सनो में रहती है।

राजीव गांधी से मुलाकात (Sonia Gandhi Meets to Rajiv Gandhi)

1964 में सोनिया अंग्रेजी सिखने के लिए बिल एजुकेशनल ट्रस्ट् लैंग्वेज स्कूल, केम्ब्रिज विश्वविद्यालय गयी। 1965 में सोनिया एक ग्रीक रेस्टोरेंट में राजीव गांधी से मिली। जो उस समय ट्रिनिटी कॉलेज कैम्ब्रिज में पढ़ते थे। तब 1965 में गांधी 18 वर्ष के विद्यार्थी थे।

राजीव और सोनिया की शादी (Rajiv and Sonia Get Marriage)

  • राजीव को सोनिया से प्रेम हुआ और 1968 में दोनों की शादी हिंदी रीती रिवाजो में हुआ। फिर सोनिया अपनी सासु माँ इंदिरा गांधी के के साथ रहने लगी थी। सोनिया ने दो बच्चों को जन्म दिया जिनका नाम राहुल गांधी और प्रियंका गांधी है।
  • 1977 में भारत में आपातकाल के दौरान गांधी परिवार पर मुसीबत आ गई थी, इंदिरा गांधी को अपना पद त्यागना पड़ा था। इस दौरान सोनिया अपने परिवार सहित कुछ समय के लिए विदेश चली गई थी। 
  • राजनीति घराने से होने के बावजूद भी राजीव और सोनिया ने राजनीती से हिस्सा लेने से मना कर दिया। राजीव एक एयरलाइन पायलट का काम करते थे और सोनिया अपने बच्चो को संभालती थी। फिर 23 जून 1983 को संजय गांधी की मृत्यु के बाद राजीव राजनीती में आये और सोनिया ने अपने परिवार पे ध्यान दिया।
  • इस दौरान सोनिया ने अपनी सास इंदिरा गांधी के साथ एक अच्छा महत्वपूर्ण समय व्यतीत किया था। एक इंटरव्यू के दौरान सोनिया जी ने कहा भी था कि इंदिरा एक बहुत अच्छी सास और माँ थी, जो हमेशा प्यार और स्नेह से व्यव्हार करती थी।

सोनिया गांधी का राजनीती में प्रवेश (Sonia Gandhi enter into Politics)

1984 में सोनिया की सास इंदिरा गांधी की हत्या हो गई थी, जिसके बाद उसी रात सोनिया के पति राजीव गांधी को भारत का प्रधानमंत्री बना दिया गया था। प्रधानमंत्री की पत्नी के रूप में सोनिया ने इस समय भारतीय राजनीती में कदम रखा था। उन्होंने इस दौरान कई राजकीय यात्राओं में अपने पति का साथ दिया था।

1984 में जब चुनाव हुए थे, तब गांधी परिवार की छोटी बहु मेनका गांधी के खिलाफ चुनाव रैली में सोनिया सक्रीय रही थी, और अमेठी की सीट के लिए अपने पति राजीव गांधी का पूर्ण सहयोग किया था।

1991 में राजीव गांधी की दुखद हत्या के बाद, गांधी परिवार से अगला चेहरा सोनिया गांधी का ही था। सबने उन्हें देश का अलग प्रधानमंत्री बनने के लिए बोला, लेकिन उन्होंने इसके लिए मना कर दिया। उस समय कांग्रेस पार्टी के लीडर पी वी नरसिम्हा राव सभी नेताओं की अगली पसंद बने, जिसके बाद पीवी नरसिम्हा राव अगले पांच सालो के लिए प्रधानमंत्री बन गए।

भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का अध्यक्ष (Sonia President of Indian National Congress)

  • 1996 में आम चुनाव हुए, जिसमें कांग्रेस की हार हुई। उस समय कांग्रेस पार्टी की कमान सीताराम केसरी के हाथों में थी। इस स्थिति को देखते हुए, कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं के सोनिया जी से पार्टी ज्वाइन करने का आग्रह किया। सोनिया गांधी ने 1997 में पार्टी ज्वाइन करने का फैसला किया और कलकत्ता प्लेनरी सत्र में एक प्राथमिक सदस्य के रूप कांग्रेस पार्टी ज्वाइन की।
  • 1998 में पार्टी ज्वाइन के सिर्फ 62 दिन बाद सोनिया जी को पार्टी के सदस्यों ने अध्यक्ष पद को अपनाने की पेशकश की, जिसे उन्होंने स्वीकारा और सीतराम केसरी के बाद सोनिया गांधी को कांग्रेस पार्टी का अध्यक्ष बन गई।
  • 1999 में कांग्रेस पार्टी के ही दुसरे नेता ने सोनिया जी पर विदेशी मूल के होने के कारण, उनके पीएम बनने की बात पर सवाल खड़े कर दिए थे। इस बात से सोनिया जी ने पार्टी के अध्यक्ष पद से इस्तीफ़ा देने की पेशकश कर दी थी। जिसके बाद पार्टी में 2 गुट बन गए और सोनिया जी का विरोध करने वालों ने अपनी अलग पार्टी बना ली।
  • 1999 में सोनिया जी कर्णाटक की बेल्लारी एवं उत्तरप्रदेश की अमेठी लोकसभा सीट से चुनाव के लिए खड़ी हुई थी। इन दोनों ही जगह सोनिया जी को विजय प्राप्त हुई, लेकिन सोनिया जी ने अपने परिवार के क्षेत्र अमेठी को चुना। बेल्लारी में सोनिया जी ने बीजेपी की प्रसिध्य नेता सुषमा स्वराज को हराया था। 1999 में 13वें लोकसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी को हार का सामना करना पड़ा था और भारत देश को अटल बिहारी वाजपेयी के रूप में नए प्रधानमंत्री मिले थे। सोनिया को विपक्ष नेता के रूप में चुना गया था।

2004 के बाद की राजनीती (Sonia Gandhi Political Career)

  • 2004 के चुनाव में कांग्रेस एक नए जोश के साथ मैदान में उतरी थी, और इस बार चुनाव की पूरी ज़िम्मेदार सोनिया जी के कंधो पर ही थी। सोनिया जी ने रायबरेली से चुनाव लड़ा था, जहाँ उन्हें जीत मिली थी। बीजेपी (एनडीए) पार्टी की बड़ी हार के बाद सोनिया जी को व्यापक रूप से भारत के अगले प्रधानमंत्री के रूप में देखा जा रहा था।
  • इस बात का विरोध भी पुरे देश में जमकर हो रहा था क्यूंकि वे विदेशी मूल की महिला थी। इन्ही सब खींचातानी के बाद सोनिया जी ने अपने कदम पीछे ले लिए, और अपनी जगह मनमोहन सिंह को प्रधानमंत्री बनाया गया।
  • 2004 में यूपीए सरकार द्वारा राष्ट्रीय सलाहकार परिषद का गठन हुआ था, जिसमें प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने अध्यक्ष के रूप में सोनिया गांधी जी को चुना था। 2005 में सोनिया जी ने सूचना का अधिकार अधिनियम लागू करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
  • 2009 में सोनिया जी के नेतृत्व में कांग्रेस पार्टी ने लोकसभा आम चुनाव में बहुमत से जीत हासिल की थी, जिसके बाद मनमोहन सरकार कायम रही थी। सोनिया जी भी लगातार तीसरी बार सांसद के पद पर कार्यरत रहीं थी।
  • 2010 में सोनिया जी को फिर राष्ट्रीय सलाहकार परिषद का अध्यक्ष बनाया गया था, इस पद पर वे 2014 तक विराजमान रही।
  • 2014 में हुए एक बार फिर आम चुनाव में सोनिया जी रायबरेली से ही खड़ी हुई थी, जिसमें उन्हें जीत भी हासिल हुई थी, लेकिन अफ़सोस कांग्रेस की ये अब तक की सबसे बड़ी हार हुई थी। कांग्रेस सिर्फ 44 सीटों में सिमट गई थी। 2014 में बीजेपी की बहोत बड़ी जित हुई और नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) को भारत के प्रधान मंत्री बनाया गया।
  • 2017 में सोनिया जी ने कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष पद में अपनी जगह अपने बेटे राहुल गांधी को बैठा दिया था। बाद में राहुल गांधी के अध्यक्षता में कांग्रेस की कई राज्यों में लगातार हार के बाद 2019 में फिर से कांग्रेस की अध्यक्ष बन गई।
  • 2019 में हुए आम चुनाव में कांग्रेस की फिरसे बड़ी हार हुई थी। और बीजेपी की जित में नरेंद्र मोदी को लगातार दूसरी बार भारत के प्रधान मंत्री बनाया गया।

सम्मान (Sonia Gandhi Get The Honor)

  • फोर्ब्स की 2007 की रिपोर्ट के अनुसार 6 पायदान पर थी।
  • 2010 में 9 एवं 2012 में 12 पायदान पर फोर्ब्स की लिस्ट में रही।
  • 2010 के एनुअल सर्वे ऑफ़ वर्ल्ड 50 मोस्ट वैल्युएबल फिगर में 29 पायदान पर रही।
  • 2013 मे फोर्ब्स द्वारा निकली दुनिया पावरफूल लोगो की लिस्ट में सोनिया गांधी 21वे पायदान पर थी।
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